राष्ट्रीय खेलों में 140 खिलाड़ी करेंगे राज्य का प्रतिनिधित्व
– मीडिया में लापरवाही की खबरों के बाद टूटी खेल संघों, ओलंपिक संघ व खेल विभाग की नींद, आनन फानन में जारी की खिलाड़ियों की सूची, मेजबानी से पहले पदक तालिका में प्रदर्शन सुधारना होगी चुनौती
PEN POINT, DEHRADUN : 26 अक्टूबर से गोवा में आयोजित होने वाले 37वें राष्ट्रीय खेलों में राज्य के 140 खिलाड़ी 18 अलग अलग खेल प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेंगे। आयोजन के 11 दिन बाद भी खिलाड़ियों की सूची जारी न करने की खबरों के आने से हुई किरकिरी के बाद आखिरकार खेल एसोसिएशनों से राष्ट्रीय खेलों में हिस्सा ले रहे खिलाड़ियों की सूची जारी कर खेल विभाग और इंडियन ओलंपिक एसोसिएशन को भेजी। हालांकि, राज्य की खेल एसोसिएशनों और खेल विभाग की यह बड़ी लापरवही तब सामने आई थी जब अगले साल उत्तराखंड राष्ट्रीय खेलों की मेजबानी करेगा और राज्य के खिलाड़ी राष्ट्रीय खेलों में हर बार खराब प्रदर्शन कर रहे हैं। ऐसे में खिलाड़ियों पर भी दबाव होगा कि अगले साल राष्ट्रीय खेलों की मेजबानी से पहले गोवा में पदक तालिका में अपनी स्थिति सुधारते हुए एक संदेश देने की कोशिश करे।
गोवा में 26 अक्तूबर से शुरू हो रहे 37वें राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड से 18 खेलों में 140 खिलाड़ी प्रतिभाग करेंगे। शनिवार तक राज्य के खेल एसोसिएशन ऐसे खिलाड़ियों की सूची जारी नहीं कर सका था जिन्हें राज्य का प्रतिनिधित्व राष्ट्रीय खेलों में करना है। जबकि, खेल विभाग का कहना था कि राष्ट्रीय खेलों को गोवा सरकार व इंडियन ओलंपिक एसोसिएशन की ओर से समय से कोई औपचारिक पत्राचार नहीं किया गया लिहाजा औपचारिक तौर पर कोई कार्रवाई शुरू नहीं हो सकी। वहीं, अब जब यह मामला मीडिया में उछला तो राज्य ओलंपिक संघ, खेल विभाग समेत विभिन्न खेल एसोसिएशनों ने आनन फानन में खिलाड़ियों, खेलों और सहयोगी स्टाफ की सूची जारी की।
सबसे ज्यादा खिलाड़ी गोल्फ में
गोवा में होने वाले 37वें राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड से हिस्सा ले रहे 13 खिलाड़ी कयाकिंग और कैनोइंग में हिस्सा लेंगे तो 1 खिलाड़ी साइकिलिंग में प्रतिभाग करेंगा। छह खिलाड़ी तैराकी, चार खिलाड़ी वुशु, दो खिलाड़ी वेट लिफ्टिंग में, जूडो में छह खिलाड़ी, ताईक्वांडों में 7 खिलाड़ी, 20 खिलाड़ी गोल्फ, 20 खिलाड़ी मिनी गोल्फ में, 10 खिलाड़ी योगा में, 3 खिलाड़ी शूटिंग में, 12 खिलाड़ी फुटबाल में, 10 खिलाड़ी बाक्सिंग में, एथलेटिक्स में 14, बैडमिंटन में 11, 6 खिलाड़ी तीरंदाजी में हिस्सा लेंगे। इसके अलावा 15 खिलाड़ी अन्य खेलों में हिस्सा लेंगे। खिलाड़ियों के इस दल के साथ 47 कोच व सहायक स्टॉफ भी गोवा पहुंचेंगे।
हर साल बिगड़ता जा रहा प्रदर्शन
अगले साल होने वाले 38वें राष्ट्रीय खेलों की मेजबानी उत्तराखंड कर रहा है लेकिन राज्य की खेल ऐसोसिएशन, खेल विभाग और राज्य ओलंपिक संघ की तैयारियों की पोल इस साल गोवा में होने वाले खेलों की तैयारियों में ही खुल गई है। आलम यह है कि गोवा के राष्ट्रीय खेल शुरू होने के डेढ़ हफ्ते तक यह भी तय नहीं था कि कौन कौन से खिलाड़ी इसमें हिस्सा लेंगे। वहीं, हर बार राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड की खिसकती रैंक भी चुनौती बनी हुई है। हर बार राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड के खिलाड़ियों का प्रदर्शन बिगड़ता ही जा रहा है लिहाजा पदक तालिकाओं में राज्य लगातार नीचे खिसक रहा है। उत्तराखंड राज्य ने जब से राष्ट्रीय खेलों में हिस्सा लेना शुरू किया है तब से पदक सूची में राज्य की रैंक लगातार गिरती रही है। पहली बार राज्य के खिलाड़ियों ने 2007 में असम में आयोजित राष्ट्रीय खेलों में हिस्सा लिया था, यहां 13 पदक जीतकर मेडल सूची में 18वें नंबर पर रहे थे, लेकिन 2011 में झारखंड में आयोजित अगले राष्ट्रीय खेलों में 13 मेडल जीतकर पदक तालिका में 19वें नंबर पर चले गए। 2015 में केरल में आयोजित राष्ट्रीय खेलों में 19 पदक जीते पर पदक सूची में 23वें नंबर पर आ गए। पिछले साल गुजरात में आयोजित राष्ट्रीय खेलों में 18 पदक जीतकर पदक तालिका में 26वें नंबर पर आ गए। यानि, हर राष्ट्रीय खेलों में उत्तराखंड के खिलाड़ियों का प्रदर्शन अन्य राज्यों के मुकाबले खराब होता रहा।