सच में पौड़ी को उसका खोया हुआ गौरव लौटाने की दिशा में आगे बढ़ रहे धामी ?
PEN POINT, DEHRADUN :लम्बे वक्त से गढ़वाल मंडल मुख्यालय पौड़ी की अनदेखी की चर्चाएं आम तौर पर होती रही हैं। लेकिन इसकी तरफ पौड़ी से निकले बड़े नेताओं और अन्य ने इस दिशा में गंभीरता नहीं दिखाई। अब प्रदेश के युवा मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने ये जिम्मेदारी अपने कन्धों पर उठा ली है। बहरहाल कुछ हद तक इस दिशा में गंभीरता दिखाते हुए धामी नजर आ रहे हैं।
बता दें कि अपने पिछले दौरे पर पौड़ी पहुंचकर उन्होंने ने वहां के जनमानस की मनसा और पीड़ा को बखूबी समझने के प्रयास किये। देहरादून लौटकर आने के बाद शासन के शीर्ष फसरों को इस दिशा में बढ़ने को लेकर निर्देश दिए गए। इसके बाद मुख्य सचिव एसएस संधू ने डीएम पौड़ी सहित अन्य मंडलीय अफसरों के साथ एक अहम् बैठक की। अब मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज पौड़ी के विकास को लेकर अधिकारियों के साथ सचिवालय में महत्वपूर्ण बैठक की है।
सीएम ने साफ़ कर दिया है कि गढ़वाल का मुख्यालय पौड़ी से ही संचालित किया जाए। उन्होंने कहा पौड़ी के विकास के लिए दो बार पहले भी बैठक की जा चुकी है। इसके लिए वहां की सभी विकास योजनाओं की बारीकी से समीक्षा की जा रही है। सीएम ने कहा कि पौडी में मंडल कार्यालय संचालित होने से वहां के विकास को भी पंख लगेगे। इसलिए सरकार कोशिश कर रही है कि वहां जल्दी से जल्दी और बेहतर तरीके से मंडल कार्यालयों को चलाया जाए।
गौरतलब है कि इससे पहले की सरकारों में काबिज रहे मुख्यमंत्रियों ने यूं तो राजनीतिक लाभ लेने के लिए कई बार पौड़ी की अनदेखी पर खोखली बयानबाजी और हवाई बातें की। हर बार पौड़ी को ये नेता योंही छलते रहे, पर अब धामी ने कुछ हद तक इसे लेकर कदम उठाने का निर्णय लिया है।
देखना ये होगा कि मुख्यमंत्री की इस पहल को अफसर और यहाँ के कथित बड़े नेता जमीन पर कितना उतरने देते हैं। इतना तय है कि अगर पुष्कर सिंह धामी पौड़ी के वैभव को वापस लौटाने में सफल होते हैं, तो इसका लाभ पूरे जनपद सहित मंडल के सभी जिलों को मिलेगा। इतना ही नहीं इससे धामी की दूर दृष्टि और व्यक्तिगत सियासी कद को नापा जायेगा। गौर करने वाली बात ये भी है कि इस सबके पीछे के सियासी सन्देश और मायने आखिर हैं क्या ?